Search
Add Listing

Welcome Jat Gaurav In Rajasthan

 जाट गौरव राजस्थान 

इतिहास की चर्चा होते ही प्रायः देखा गया है कि सभी जाट वक्ता कहते हैं कि ‘‘जाट इतिहास के साथ अन्याय हुआ है।’’ क्योंकि उसको वास्तविक रूप में न लिखकर इतिहासकारों ने रूप परिवर्तित कर दिया है। इस कथन से लेखक भी सहमत है किन्तु सहज मंच पर आकर दूसरे इतिहासकारों पर छीटांकशी करने मात्र से अपने दायित्व से छुटकारा नहीं मिलता। इतिहासकार भी आखिरकार एक मानव ही है। उसका अपना दृष्टिकोण, सोच व विश्लेषण होता है। इसके अतिरिक्त किसी भी ऐतिहासिक घटना का केवल एक ही कारण नहीं होता। वह जटिल एवं टकराती हुई समस्याओं का परिणाम होता है। अतः दो निष्पक्ष इतिहासकारों के विश्लेषण भी भिन्न हो सकते है। सबसे महत्त्वपूर्ण बात यह है कि - किसी भी जाति का चरित्र व क्षमता। जिसके द्वारा इतिहास रचे जाते हैं, महान कार्य सम्पादित्त किये जाते हैं, वो हमारे लिए गर्व की बात है। प्रायः सभी इतिहासकारों ने जाट जाति के स्वभाव की भूरी-भूरी प्रशंसा की है। इस जाति में उन विरले गुणों को इंगित किया है, जो अन्य जातियों में दुर्लभ है। क्या आप इसको अपना इतिहास नहीं मानते? ऐतिहासिक घटनाओं ो लोग अधिक समय तक नहीं छिपा सकते। जब तक आप में शौर्य है, आप इतिहास रचते रहेंगे और दुनियां को आपका इतिहास मानना पड़ेगा। इतिहास क्या है? घटना चक्र का वर्णन ही तो है। घटनाएं होती रहती है, इतिहास अपने आप को लिखता रहता है, दोहराता रहता है। तो ऐसे में जाट इतिहास को कौन कितने दिन तक छिपा सकता है। स्मरण रहे, महर्षि दयानन्द जाट जाति को आर्य महर्षि दयानन्द जाट जाति को आर्य सभ्यता का प्रतीक मानते थे, उसी प्रकार स्वामी विवेकानन्द ने भी इस जाति के स्वभाव और स्वाभिमान को समझते हुए एक बार आम जुलुस में लोगों को जाट जाति के गुण धारण करने के लिए ओवान किया था। प्रसिद्ध इतिहासकार श्री कानूनगो द्वारा जाट जाति के चरित्र का जितना सुन्दर चित्रण किया गया है वह जाति के लिए बहुत गौरव की बात है। स्व. पण्डित श्री जवाहर लाल नेहरू भी जाट जाति के शौर्य एवं दमखम को समझते थे।


उन्होनें अपना प्रसिद्ध कृति ‘‘भारत की खोज’’ में भले ही जाटों के बारे में उल्लेख न किया हो, किन्तु जाटों की शक्ति से प्रभावित होकर यह व्यक्त किया कि, ‘‘जाट एक बहादुर कौम है। यदि यह आपस में मिल जाए तो दिल्ली पर जब चाहे कब्जा कर सकती है।’’ उन्होंने अपनी इन दो पंक्तियों में वह स्वर्ण जाट का इतिहास लिख दिया जो एक जहार पृष्ठों में भी नहीं लिखा जा सकता। कह सकते है कि अतीत में जाट लेखक व इतिहासकार नहीं थे। अब जाट इतिहासकार व लेखक सचेत हो गये है तथा इतिहास का पुनः उद्धार करने के लिए कटिबद्ध हो गये है। जिससे एक नवीन जाट इतिहास हमारे गौरवशाली अतीत को उजागर करेगा। जिससे आपके कर कलमों की शोभा में चार चाँद लग जायेंगे। दूसरों की आलोचना करना बड़ा ही सरल कार्य है क्योंकि उसमें आपको केवल गाल बजाना होता है। कार्य को नई दिशा देना, उसको सफल कराना तथा ठोस रूप में क्रिर्यान्वत करना बहुत कठिन कार्य है। 

यह बड़े हर्ष की बात है कि कुछ जाट संस्थाएं अपने इतिहास पर शोध के लिए साधन जुटा रही है तथा कार्यकत्ताओं को पारिश्रमिक भी दिए जा रहे है। कुछ वर्तमान लेखकों के सारगर्भित लेख व पुस्तकें भी प्रकाशित हो रही है। इस कार्य में जाट ज्योति एवं अन्य कितनी ही स्थानीय पत्रिकाएं समाज में जागृत्ति फैलाने के माध्यम से ही विश्व जाट आर्यन फाउंडेशन की स्थापना संभव हो सकती है। यह विश्व स्तर की जाट महासभा है तथा इसके माध्यम से सकल जाट समुदाय को जोड़ने का प्रयत्न किया जा रहा है। भारत के महानगर, नगर, कस्बे तथा गाँवों को एक सूत्र में बांधकर उनके पूर्ण विकास की योजना का उत्तरदायित्त्व निभाने का कार्यक्रम है। किन्तु ज्ञातव्य हो इस कार्य की सफलता आप सभी भाईयों के सहयोग से संभव है।

समस्त जाट समुदाय माननीय चीफ जस्टिस देबीसिंह तेवतीया का आभारी रहेगा। जिन्होंने प्रथम अध्यक्ष के रूप में अपने भागीरथ प्रयत्न से इसकी स्थापना करवाई तथा इसका आदर्श संविधान तैयार किया। उनके स्थान पर केन्द्रीय मंत्री डाॅ. साहिब सिंह वर्मा इस संस्था के अध्यक्ष बने थे। मेरे विचार से जाट इतिहास अथवा जाट समुदाय के साथ अन्य लोगों ने क्या किया, इसको छोड़कर हमें स्वयं इसके साथ न्याय करना होगा। हमें अपने गिरेबान में झांक कर देखना होगा कि हम इस संबंध में क्या कर रहे हैं। 

समाज का उत्थान कोई छोटा कार्य नहीं है। यह सतत् निर्विध्न और एक जुट सामूहिक प्रयास से ही संभव है। इस संगठन के माध्यम से शैक्षिक, सामाजिक एवं राजनीतिक समस्याओं पर विचार विमर्श किया जा सकता है। एक ओर इसके माध्यम से जहां शिक्षा का प्रचार - प्रसार संभव है दूसरी और समाज को संगठित करके अपने ऊपर होने वाले अन्याय और अत्याचार से अपनी रक्षा भी की जा सकती है। समाज उत्थान के लिए कई संस्थाऐं कार्य कर रही है।

About Us

राजस्थान के जाट गौरव

अजमेर जिले से जाट गौरव

अलवर जिले से जाट गौरव

बांसवाड़ा जिले से जाट गौरव

बारां जिले से जाट गौरव

भरतपुर जिले से जाट गौरव

भीलवाड़ा जिले से जाट गौरव

बाड़मेर जिले से जाट गौरव

बीकानेर जिले से जाट गौरव

बूंदी जिले से जाट गौरव

चितौड़गढ़ जिले से जाट गौरव

चूरू जिले से जाट गौरव

नवीन कुमार सिलु
खुड़ी
9929380514

सुजानगढ़

बलबीरसिंह बिजारणियां
चारियाँ
9587582300

सुजानगढ़

डॉ. लादूसिंह राव
सालासर
9414402027

सुजानगढ़

भंवरलाल सामोता
सालासर
8107572029

सुजानगढ़

महेश सामोता
सालासर
+971527555123

सुजानगढ़

धर्मेन्द्र किलका
आबसर
9414400230

सुजानगढ़

प्रेमचंद जाटमाली
भीमसर
9828301320

सुजानगढ़

राकेश ढ़ाका
नोरंगसर
9549123810

सुजानगढ़

बेगाराम ढाका
सालासर
9929146488

सुजानगढ़

सुरजाराम ढ़ाका
सालासर
9414085157

सुजानगढ़

जीवणराम नेहरा
बामणियां
9928643005

सुजानगढ़

राकेश बटेसरा
डूंगरास अगुणा
9549687841

सुजानगढ़

विरेन्द्र कस्वां
ढाकावाली
8114418143

सुजानगढ़

विश्वजीत कस्वां
ढाकावाली
8696557272

सुजानगढ़

महेन्द्र ढुकिया
गुडावड़ी
9950000970

सुजानगढ़

दौसा जिले से जाट गौरव

धौलपुर जिले से जाट गौरव

डूंगरपुर जिले से जाट गौरव

हनुमानगढ़ जिले से जाट गौरव

जयपुर जिले से जाट गौरव

जैसलमेर जिले से जाट गौरव

जालौर जिले से जाट गौरव

झालावाड़ जिले से जाट गौरव

झुंझुनूँ जिले से जाट गौरव

कमलेश कुमार तेतरवाल
झुंझुनू
9414540322

झुंझुनू

जोधपुर जिले से जाट गौरव

करौली जिले से जाट गौरव

कोटा जिले से जाट गौरव

नागौर जिले से जाट गौरव

महेन्द्र ग्वाला
ग्वालू
9784430350

मूण्डवा

कर्नल नंदकिशोर ढाका
थेबड़ी
8107382066

डीडवाना

धर्मेंद्र चौधरी
सिंघाना
9649801880

डीडवाना

भंवरलाल मील
लाडनूं
9828604939

लाडनूं

गंगाधर चौधरी
सुनारी
9828208831

लाडनूं

हरिराम सिहाग
मुन्दियाऊ
9784663716

जायल

पाली जिले से जाट गौरव

प्रतापगढ़ जिले से जाट गौरव

राजसमंद जिले से जाट गौरव

सवाई माधोपुर जिले से जाट गौरव

सीकर जिले से जाट गौरव

मनोज मील
लालासी
9057550678

लक्ष्मणगढ़

सिरोही जिले से जाट गौरव

श्रीगंगानगर जिले से जाट गौरव

टोंक जिले से जाट गौरव

उदयपुर जिले से जाट गौरव

Contact Us

Gallery - Photos

Quick Enquiry :

Captcha Value : 4+4

Related Venu :

Best Venus

Rajasthanlink.com