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समरस सनातन यात्रा के वेबसाइट पेज में आपका स्वागत है।

Welcome Samras Sanatan Yatra, Shekhawati (Sanatan Sena)

समरस सनातन यात्रा - शेखावाटी मे भव्य रूप से 11 दिसम्बर, 2024 को प्रारम्भ होने वाली हैं। जिसको लेकर शेखावाटी वासियो मे अपार उत्साह है। हिन्दुतत्व के लिए, सनातन के लिए व राष्ट्र गौमाता के लिए यह यात्रा हो रही उसको देखकर शेखावाटी के सभी संत मठ व मंदिर छोड़कर एक हो रहे है, जिससे एक सनातन शक्ति उभरने वाली हैं। 

     11 दिसम्बर गीता जंयति के दिन प्रातः नौ बजे सालासर में सुजानगढ़ रोड़ पर स्थित श्री बालाजी गौशाला संस्थान मे पंहुचकर सनातन यात्रा का रथ लेकर बालाजी महाराज के दर्शन कर सुजानगढ के लिए रवाना होगे। सुजानगढ मे सनातन यात्रा का भव्य स्वागत होगा। यह यात्रा 20 दिसम्बर तक पूरी शेखावाटी मे भ्रमण करेगी। 

20 दिसम्बर को सीकर मे सनातन यात्रा का समापन होगा जिसमे अनेक संत व लोग आयेगे और इस दिन टी राजा टाईगर का उद्बोधन भी होगा। इसलिए आप सभी सालासर व सीकर में अवश्य पधारें एवं अपने अपने क्षेत्र में यात्रा के साथ रहे।

मंहत श्री दिनेश गिरी जी महाराज 

 
समरस सनातन यात्रा ,शेखावाटी
(रूट व कार्यक्रम स्थल)
 
11 दिसम्बर, 2024 (बुधवार)
(सालासर) मो. - 9828033879
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा प्रारम्भ 
👉 स्थान : श्री बालाजी गौशाला सालासर 
👉 समय : सुबह 9 : 15 बजे

👉 कार्यक्रम : दर्शन
👉 स्थान : श्री बालाजी मन्दिर सालासर
👉 समय : सुबह 10 : 15 बजे

 

 
 
(सुजानगढ़मो. - 9983626222
 
👉 कार्यक्रम : महासभा
👉 स्थान : गांधी चौक सुजानगढ़ 
👉 समय : दोपहर 12: 15 बजे
 
 
(रतनगढ़) मो. - 9468977444
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : चौथा पुलिया रतनगढ़ से नगर भ्रमण
👉 समय : दोपहर  3: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : महासभा
👉 स्थान : श्री तालवाले बालाजी रतनगढ़
👉 समय : शाम  5: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : नारायण दर्शन
👉 स्थान : बस्तियों में
👉 समय : रात्रि  7: 15 बजे
 
 
 
12 दिसम्बर, 2024 (गुरूवार)
(सरदारशहर) मो. - 9414085346
👉 कार्यक्रम : यात्रा नगर भ्रमण
👉 स्थान : पंचायत समिति से अशोक स्तम्भ, बस स्टेण्ड, गाँधी चौक, मुख्य बाजार होते हुए कन्दोई बगीची, ताल मैदान सरदारशहर तक
👉 समय : सुबह  11 : 15 बजे

👉 कार्यक्रम : संत समागम एवं व्याख्यान
👉 स्थान : कन्दोई बगीची, ताल मैदान, सरदारशहर
👉 समय : दोपहर  12: 15 बजे

 
(तारानगर) मो. - 9414245251
 
👉 कार्यक्रम : महासभा
👉 स्थान : श्री विश्वकर्मा गेस्ट हाऊस, सरदारशहर रोड़, तारानगर 
👉 समय : दोपहर 3 : 15 बजे
 


13 दिसम्बर, 2024 (शुक्रवार)
(राजगढ़) मो. - 9983399941
  
👉 कार्यक्रम : दर्शन
👉 स्थान : गोगाजी महाराज व गोरखनाथ टीला, ददेरवा
👉 समय : सुबह 9: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : अम्बेडकर चौराहा से रामदेवजी मंदिर तक, राजगढ़
👉 समय : सुबह  10: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : महासभा
👉 स्थान : रामदेवजी मंदिर तक, राजगढ़
👉 समय : सुबह  11: 15 बजे
 
 
(चूरू) मो. - 9352251000
 
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : झंकार होटल बाईपास से पारख गार्डन, चूरू
👉 समय : दोपहर 2: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : महासभा
👉 स्थान : पारख गार्डन, चूरू
👉 समय : दोपहर 3: 15 बजे
 
 
14 दिसम्बर, 2024 (शनिवार)
(मण्डावा) मो. - 9464474539
 
👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : श्री गणेश मंदिर, फतेहपुर रोड़, मण्डावा
👉 समय : सुबह 10: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : श्री गणेश मंदिर से सुभाष चौक तक मण्डावा
👉 समय : सुबह 11: 15 बजे

(नवलगढ़) मो. - 9649231234
 
👉 कार्यक्रम : देव दर्शन
👉 स्थान : श्री ठड्डे वाले बालाजी, मुकुंदगढ़
👉 समय : दोपहर 12: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : देव दर्शन
👉 स्थान : श्री जीणमाता मन्दिर, डूण्डलोद
👉 समय : दोपहर 1: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : बावड़ी गेट से मुख्य बाजार होते हुए रामदेवरा चौक, नवलगढ़
👉 समय : दोपहर 2: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : रामदेवरा चौक, नवलगढ़
👉 समय : दोपहर 3: 15 बजे

 
15 दिसम्बर, 2024 (रविवार)
(उदयपुरवाटीमो. - 9414541999
 
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : तिरूपति बालाजी मंदिर से पंचायत समिति, बस स्टैण्ड व खेल मैदान, उदयपुरवाटी तक
👉 समय : सुबह 11 : 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : खेल मैदान, उदयपुरवाटी
👉 समय : दोपहर 12 : 15 बजे
 
 
(झुन्झुनूँमो. - 9414080172
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : गुढ़ा मोड़ से गाँधी चौक, झुन्झुनूँ तक
👉 समय : दोहपर 3 : 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : गाँधी चौक, झुन्झुनूँ
👉 समय : शाम 4 : 15 बजे

 
16 दिसम्बर, 2024 (सोमवार)
(चिड़ावामो. - 9414081639
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : ओजटू तिराहा से विवेकानन्द चौक, चिड़ावा
👉 समय : सुबह 11: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : विवेकानन्द चौक, चिड़ावा
👉 समय : दोपहर 12: 15 बजे

(सुरजगढ़मो. - 9672840272
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : घरड़ चौराहा से राणी बाग, सुरजगढ़
👉 समय : दोपहर 2: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : राणी बाग, सुरजगढ़
👉 समय : दोपहर 3: 15 बजे

 
17 दिसम्बर, 2024 (मंगलवार)
(खेतड़ीमो. - 8058594559
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : पॉलो ग्राउण्ड से श्री श्याम मन्दिर, खेतड़ी
👉 समय : सुबह 11: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : श्री श्याम मन्दिर, खेतड़ी
👉 समय : दोपहर 12: 15 बजे

(नीमकाथानामो. - 9929093721
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : गोपाल कृष्ण गौशाला से रामलीला मैदान, नीमकाथाना
👉 समय : दोपहर 2: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : रामलीला मैदान, नीमकाथाना़
👉 समय : दोपहर 3: 15 बजे

 
18 दिसम्बर, 2024 (बुधवार)
(खण्डेलामो. - 9784080735
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : चूंगीनाका मुख्य बस स्टैण्ड से कलावटिया मैरिज गार्डन, खण्डेला
👉 समय : सुबह 11: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : कलावटिया मैरिज गार्डन, खण्डेला
👉 समय : दोपहर 12: 15 बजे

(श्रीमाधोपुरमो. - 9784050079
 
👉 कार्यक्रम : यात्रा
👉 स्थान : रेलवे ओवर ब्रिज (मानपुरिया) से चौपड़ बाजार, श्रीमाधोपुर
👉 समय : दोपहर  2: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : धर्मसभा
👉 स्थान : चौपड़ बाजार, श्रीमाधोपुर
👉 समय : शाम  3: 15 बजे

👉 कार्यक्रम : नारायण दर्शन
👉 स्थान : अम्बेडकर पार्क
👉 समय : रात्रि  6: 15 बजे

नोट: आगे केे प्रतिदिन के कार्यक्रम जल्द ही अपडेट कर दिये जायेंगे। हर अपडेट को देखने के लिए इस पेज को विजिट करते रहे।
 
19 दिसम्बर, 2024 (गुरूवार)
(कार्यक्रम प्रथम)
स्थान : 
समय :
कार्यक्रम :

(कार्यक्रम द्वितीय)
स्थान : 
समय :
कार्यक्रम :


20 दिसम्बर, 2024 (शुक्रवार)
(कार्यक्रम प्रथम)
स्थान : 
समय :
कार्यक्रम :

(कार्यक्रम द्वितीय)
स्थान : 
समय :
कार्यक्रम :

 

About Us

सनातन सेना गठन का विचार 

अनंतकाल से सम्पूर्ण पृथ्वी पर चलता आ रहा सनातन धर्म इतना सिकुड़ कैसे गया? ये एक बड़ा ही कड़वा प्रश्न मन मे चलता रहता है। इस समस्या की समीक्षा करने पर यह कारण समझ मे आया कि हिन्दू आपस मे बिखरा तब भारत सहित सनातन भी खण्डित हुआ साथ ही प्रारम्भ से ही यह बात भी मन-मानस को झकझरोरती रही कि आखिर सनातन और संविधान के मध्य अन्तर्द्वन्द की चर्चाएं क्यों होती हैं?

     संविधान की रक्षा की शपथ लेने वाले सनातन के प्रति उदार क्यों नही रह पाते हैं। जब सनातन और संविधान दोनों का तुलनात्मक अध्ययन किया तो पता चला कि मात्र राजनैतिक स्वार्थों पूर्ति के लिये किस प्रकार से भारतीय प्रजातांत्रिक व्यवस्था और सनातन दोनों की ही जड़ो मे जहर डाला जा रहा हैं। संविधान को सनातन विरोधी तथा सनातन को संविधान विरोधी बताने वाली विचारधारा को जिस प्रकार से पोषित किया जा राह है और हिन्दुओं के मन मस्तिक मे जातिवाद का जहर डाला जा रहा है उससे संविधान और सनातन दोनो को खतरा है। इस संक्रमण काल के आसुरी संक्रमण से निराकरण के लिये एक ऐसे सामूहिक विचार केा प्रस्फुटन और वृहद अंकुरण आवश्यक महसूस हुआ जो संवैधानिक अधिकारों, उपचारों तथा व्यवस्थाओं के साथ साथ श्रेष्ठ सनातनी परम्पराओं की स्थापना, संवर्धन तथा संरक्षण कर श्रेष्ठ भारत, एक भारत, विश्व गुरू भारत व अखण्ड भारत की संकल्पना साकार कर सकें।

     इसी निमित श्रावण मास संवत 2081 मे युवा साधकों के साथ पवित्र अनुष्ठान के अन्तर्गत मन मंथन से भारत की स्वतंत्रता के 78वें महापर्व 15 अगस्त 2024 को आदिदेव भगवान शिव के आशीर्वाद से तिरंगे व भगवा ध्वज के नीचे सनातन सेना गठन के विचार का जन्म् हुआ और दृढ़ संकल्प लिया गया कि आगामी एक वर्ष मे 11000 सनातन सैनिक राष्ट्र उत्थान के लिए तैयार करने हैं।

     जिस प्रकार एक विशाल वटवृक्ष के निर्माण की यात्रा राई जितने बीज से शुरूआती है उसी प्रकार सनातन सेना के गठन तथा संवर्धन के लिये सर्वप्रथम देवभूमि, तपोभूमि तथा देश की सीमाओं की सुरक्षा के लिये सर्वाधिक सैनिक प्रदान करने वाली सैन्यभूमि ‘शेखावाटी’ के नगर, कस्बों और गाँवों से प्रारम्भ कर विचारों के आदान प्रदान हेतु तथा संवैधानिक व्यवस्थाओं से सनातन के प्रगाढ सम्बन्ध स्थापति करने हेतु एक दीर्घ स्तरीय समरस सनातन यात्रा का आयोजन होना तय हुआ हैं।

     भगवान श्री कृष्ण ने जिस एकादशी के दिन अर्जुन को कर्मयोग का ज्ञान देकर सच्चे धर्म का मर्म बताया था उसी गीता जयंती 11 दिसम्बर 2024 को यह यात्रा सेना के अधिष्ठाता श्री बालाजी महाराज की पावन भूमि श्री सालासर धाम से प्रारम्भ कर सम्पूर्ण शेखावाटी मे जनदर्शन करने हेतु आरम्भ होगी। जिसके कर्मफल के रूप मे हमें युवा तरूणाई एवं अनुभवी बन्धुओ का ऐसा संगठन तैयार करना है। जो राशन से लेकर राम तक. ई मित्र से लेकर ईश्वरीय चरित्र तक, सनातन से लेकर संविधान तक और अपने घर से लेकर अखिल हिन्ुदस्तान तक सकारात्मक विचार एवं व्यवहार रखें।

     इसी ध्येय को ध्यान मे रखते हुए कि हिन्दू पुनः संगठित हों। इस लक्ष्य को पाने के इस महाअभियान मे आपके पूर्ण समर्पण व सहयोग की महति आवश्यकता हैं। अतः आपश्री से विनम्र आग्रह है कि सनातन धर्म से संकल्पित इस कार्य मे अपनी सक्रिय भूमिका निभाने हेतु तत्पर रहें
 
सनातन सेना के उद्देश्य 
 
1. सनातन धर्म को विश्व पटल पर गुरू धर्म के रूप मे एवं भारतीय संस्कृति को श्रेष्ठ संस्कृति के रूप मे पुनर्स्थापित करने हेतु चरित्रवान युवाओं का निर्माण करना।
 
2. संवैधानिक व्यवस्थाओं मे अटल विश्वास रखते हुए समरसता पूर्ण व्यवहार के साथ राष्ट्र के संप्रभु और प्रजातांत्रिक स्वरूप को अक्षुण्ण बनाए रखना।
 
3. धरती माता को हरा भरा बनाए रखने हेतु प्रत्येक व्यक्ति द्वारा कम से कम अपने हिस्से की ऑक्सीजन, लकड़ी तथा अन्य आवश्यकताओं के समानुपात मे वृक्षारोपण हेतु प्रेरित एवं प्रवृत्त करना।
 
4. सनातन सेना के विभिन्न समरसता केन्द्र स्थापित कर भारत की नागरिकता के नाते मिलने वाली सुविधाओं, सरकारी योजनाओं तथा दस्तावेजों के निर्माण, सत्यापन तथा अद्यतन करने मे सहायता करना।
 
5. सामाजिक सहयोग एवं वैचारिक सामञजस्य के साथ ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्र के विभिन्न देवालयों मे पुस्तकालय स्थापति कर युवाओं को प्रतियोगी परीक्षाओं हेतु प्रेरित करना तथा जरूरतमंदो को पठन-पाठन सामग्री की उपलब्धता सुनिश्चित करना।
 
6. गुलामी के संक्रामक काल मे सनातन मे आई कतिपय विदुपताओं को दूर करते हुए सनातन से सम्पन्न एक समरस समाज की दिशा मे अनवरत बढ़ना।
 
7. ऐसे वृहद् और चैतन्यमूलक समाज की स्थापना का प्रयास करना जो सामाजिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक रूप से सुदृढ़ और सबल हो जो सनातन और संविधान दोनो का सम्मान करें।
 
8. गोमाता को सनातन के साथ साथ संविधान की भी धरोहर बनाकर ‘राष्ट्रमाता’ का दर्जा दिलवाकर गौहत्या पर पूर्ण प्रतिबंध लगवाना, सदैव गौसेवा के प्रति कृत संकल्पित होकर उसके संरक्षण, पालन तथा संवर्धन हेतु प्रयास करना।
 
9. ऐसे संस्कारित, उर्जावान व सशक्त युवाओं का सृजन करना जो सनातन की सुदृढ़ता एवं सुरक्षा हेतु निरन्तर लीन एव रत रहे। ऐसे अस्पृश्यता, भेदभाव व निम्न सोच से मुक्त अंसख्य अनातनी युवाओं का निर्माण करना जो -
संगच्छद्ध! संवदद्वं!!
सं वो मानासी जानताम्!!! के श्रेष्ठ विचार को साकार करने के पुनीत पथ पर अग्रगामी हों।
 
10. भारत को विश्व का श्रेष्ठ आध्यात्मिक एवं वैचारिक केन्द्र बनाना तथा इसके लिये वैश्विक संचार माध्यम जैसे इंटरनेट, सोशल मीडिया एवं अन्य आधुनिक संचार साधनो के सकारात्मक उपयोग से राष्ट्र एवं धर्म दोनो की सेवा करते हुए वैचारिकता एवं बौद्धकता मे निरंतर वृद्धि करने हेतु प्रेरित करना।
 
11. सनातन सहकारिता के भाव के साथ रोजगार के अवसर एवं आपसी मेलजोल एवं चर्चाओं से स्व रोजगार के विभिन्न ऐसे क्षेत्र विकसित करना जो रोजगार, राष्ट्रसेवा एवं सांस्कृति उन्नयन तीनो को साधते हुए हमारे परिवारों को रोजगार एवं आर्थिक संबल प्रदान कर सकें।

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